Pune Weather: मई में हो रही भारी बारिश की असली वजह क्या है? जानें कब तक रहेगा असर और कितना गिरेगा तापमान

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Pune Weather: मई का महीना, जो आमतौर पर भीषण गर्मी के लिए जाना जाता है, इस बार मुंबईवासियों के लिए कुछ अलग ही लेकर आया है। जहां एक ओर इस बारिश ने भीषण गर्मी से राहत दी है, वहीं दूसरी ओर शहर की सड़कों पर जलजमाव, पेड़ों के गिरने और ट्रैफिक व्यवस्था चरमराने जैसी समस्याएं सामने आई हैं। बीते दो दिनों में मुंबई, ठाणे, पालघर और रायगढ़ जिलों में भारी बारिश, गरज-चमक और तेज हवाओं के झोंकों ने सामान्य जनजीवन को बुरी तरह प्रभावित किया है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने इसके लिए पश्चिमी विक्षोभ (Western Disturbance) और वायुमंडलीय ट्रफ को जिम्मेदार ठहराया है।

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मौसम विभाग के अनुसार, इस बार का पश्चिमी विक्षोभ सामान्य से काफी अधिक शक्तिशाली है। इसकी वजह से वायुमंडल में एक ट्रफ बन गया है जो दक्षिण की ओर झुक रहा है और जिसके साथ भारी मात्रा में नमी खींची जा रही है। मुंबई मौसम विज्ञान केंद्र की निदेशक शुभांगी भुते के अनुसार, इस प्रणाली के कारण मुंबई में तेज हवाएं (30-40 किमी प्रति घंटा) और भारी बारिश देखने को मिल रही है। आमतौर पर मई में इस क्षेत्र में हल्की-फुल्की बारिश होती है, लेकिन इस बार की स्थिति ‘मानसून जैसी’ प्रतीत हो रही है।

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Pune Weather | Image Source- Google

मुंबई ने इस बार मई महीने में वर्ष 2021 के बाद सबसे अधिक बारिश दर्ज की है। सांता क्रूज़ वेधशाला में मंगलवार से गुरुवार सुबह तक कुल 34 मिमी बारिश दर्ज की गई। वहीं साल 2021 में मई में सबसे अधिक 256 मिमी वर्षा हुई थी। यह मई का दूसरा सबसे अधिक एक दिन का बारिश रिकॉर्ड है, पिछली बार 230 मिमी बारिश 18 मई 2021 को दर्ज हुई थी। इस बार न सिर्फ तापमान में गिरावट आई है, बल्कि गुरुवार को शहर का न्यूनतम तापमान 20.6 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया, जो पिछले एक दशक का सबसे ठंडा मई का सुबह रहा।

Pune Weather: बारिश का प्रभाव

बारिश का प्रभाव सिर्फ तापमान तक सीमित नहीं रहा। सड़कों पर जलजमाव, लोकल ट्रेनों की रफ्तार में कमी, कई जगह पेड़ गिरने की घटनाएं, और Kalyan-ठाणे में तीन लोगों की जान तक चली गई। मुंबई नगर निगम की मानसून तैयारी को भी इस बारिश ने सवालों के घेरे में खड़ा कर दिया है। हर साल बारिश से पहले बड़े-बड़े दावे किए जाते हैं, लेकिन असामयिक बारिश ने इस बार पहले ही इन दावों की पोल खोल दी।

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Pune Weather | Image Source- Google

Pune Weather: विशेषज्ञों की मानें तो इस बार पूर्व-मॉनसून बारिश की स्थिति सामान्य से बिल्कुल अलग है। मौसम विश्लेषक अथरेया शेट्टी के अनुसार, इस बार हवाएं पश्चिमी दिशा से बह रही हैं, जबकि आमतौर पर मई में पूर्व दिशा की हवाएं प्रभावी होती हैं। समुद्र की ओर से आने वाली इन हवाओं ने वातावरण में नमी को और बढ़ा दिया है, जिससे वातावरण में अस्थिरता (instability) और बारिश की तीव्रता बढ़ गई है।

गौरतलब है कि इस तरह की असामान्य परिस्थितियां जलाशयों के जलस्तर के लिए फायदेमंद साबित हो सकती हैं। मुंबई में पानी आपूर्ति करने वाले सात झीलों के जलस्तर को इस बारिश से फायदा मिलेगा। इसके अलावा वाष्पीकरण की गति भी कम हो जाएगी, जिससे जल संरक्षण में मदद मिलेगी।

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हालांकि, इस असमय बारिश के अपने खतरे भी हैं। पेड़ गिरने, बिजली कटने, ट्रैफिक जाम और सड़कों पर पानी भरने की घटनाओं ने साफ कर दिया है कि मानसून से पहले शहर की व्यवस्था को मजबूत करना अत्यंत आवश्यक है। यह भी एक चेतावनी है कि अगर समय रहते नगर प्रशासन ने उचित कदम नहीं उठाए, तो मानसून के दौरान स्थिति और भी विकट हो सकती है।

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Pune Weather | Image Source- Google

इस बीच, मौसम विभाग ने शुक्रवार सुबह तक के लिए येलो अलर्ट जारी किया है। इसके बाद के दिनों में हल्की बारिश और बादल छाए रहने की संभावना जताई गई है। रविवार तक मौसम में नमी और बादलों का असर बना रहेगा, जिससे तापमान में और गिरावट हो सकती है।

निष्कर्ष

Pune Weather: मुंबई में मई महीने में हो रही भारी बारिश कोई सामान्य घटना नहीं है। यह बदलते जलवायु पैटर्न और वायुमंडलीय अस्थिरता का नतीजा है। जहां एक ओर इससे लोगों को गर्मी से राहत मिली है, वहीं दूसरी ओर यह आने वाले समय के लिए एक चेतावनी भी है कि शहर को जल्द से जल्द मानसून के लिए तैयार करना जरूरी है। बदलते मौसम का यह संकेत प्रशासन के लिए एक अलार्म है, जिसे नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए।

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